सनम की नजर का इशारा हुवा है
चलो आज अपना सहारा हुवा है
सुनी राह में हम अकेलै चले थे
कोइ साथ देखो हमारा हुवा है
बडाही गमोंका खदसा रहा पर
खुशीकी तलब ने उभारा हुवा है
तडपता रहा मन अरमां थे बिखरे
बुरा वकत हमने गुजारा हुवा है
निगाहों में छाई हैं खुशीयां जहांकी
बहारों ने भी दामन पसारा हुवा है
उन्हें पास पाके खिले फुल मासूम
बडा दिलनशीं ये नजारा हुवा है
मासूम मोडासवी